Short Biography of Subhas Chandra Bose :
महान स्वतंत्रता सेनानी, करोड़ों भारतीयों के आदर्श महान देशभक्त महानायक नेताजी सुभाष चन्द्र बोस का जन्म 1897 में 23 जनवरी को बंगाल के कटक नामक स्थान पर एक हिंदू कायस्थ परिवार में हुआ था। ये अपूर्व देश भक्त थे। इनके पिता का नाम जानकीनाथ बोस और माता प्रभाती देवी था। वे अपने माता-पिता की चौदह संतानों में से नौवें भाई थे।
उन्होंने अपनी प्रारंभिक पढ़ाई कटक से पूरी की लेकिन कलकत्ता में मैट्रिक की डिग्री और 1918 में कलकत्ता विश्वविद्यालय से बीए की डिग्री प्राप्त की। वह उच्च अध्ययन करने के लिए 1919 में इंग्लैंड गए, वह बंगाली राजनीतिक प्रमुख चित्तरंजन दास से बेहद प्रभावित थे और जल्द ही भारत के स्वतंत्रता संग्राम में शामिल हो गए।
गाँधी जी की अहिंसा के विपरीत ये शक्ति से अंग्रेजों को भारत से भगाना चाहते थे। वे ईंट का जवाब पत्थर से देने के हिमायती थे। इनके भाषण बड़े जोशीले होते थे। भारत के नवयुवक उनसे बहुत प्रभावित थे। उन्होंने आखिरकार ब्रिटिश शासन से लड़ने के लिए एक बड़ा और शक्तिशाली आजाद हिंद फौज तैयार किया। नेताजी के साहसिक कार्य आज भी लाखों भारतीय युवाओं को देश के लिए कुछ करने के लिए प्रेरित करते हैं।
आजाद हिंद फौज के संस्थापक नेताजी सुभाष चंद्र बोस की 23 जनवरी को उनकी 125वीं जयंती पर श्रद्धापूर्वक नमन…
राष्ट्र प्रेम से सराबोर नेताजी सुभाष चन्द्र बोस अनमोल विचार
“एक व्यक्ति एक विचार के लिए मर सकता है, लेकिन वह विचार उसकी मृत्यु के बाद भी हजारों लोगों में अवतार लेगा।” – नेताजी सुभाष चन्द्र बोस
“तुम मुझे खून दो, मेँ तुम्हे आजादी दूंगा”..- नेताजी सुभाष चन्द्र बोस
“भारत में राष्ट्रवाद ने लोगो के अंतरमन को उत्तेजित किया है जो सदियों से हमारे लोगों में सुसुप्त अवस्था में रहा है।” – नेताजी सुभाष चन्द्र बोस
“केवल पूर्ण राष्ट्रवाद, पूर्ण न्याय और निष्पक्षता के आधार पर ही भारतीय सेना का निर्माण किया जा सकता है।” – नेताजी सुभाष चन्द्र बोस
“संघर्ष ने मुझे मनुष्य बनाया मुझमें आत्मविश्वास उत्पन्न हुआ जो पहले मुझमें नहीं था।” – नेताजी सुभाष चन्द्र बोस
नेताजी सुभाष चन्द्र बोस के अन्य विचार
- “अगर जीवन में संघर्ष न रहे किसी भी भय का सामना न करना पड़े तो जीवन का आधा स्वाद ही समाप्त हो जाता है।”
- “आशा की कोई न कोई किरण होती है जो हमें कभी जीवन से भटकने नहीं देती।”
- “सफलता दूर हो सकती है लेकिन वह मिलती जरूर है।”
- “सफलता हमेशा असफलता के स्तंभ पर खड़ी होती है। इसलिए किसी को भी असफलता से घबराना नहीं चाहिए।”
- “याद रखिये सबसे बड़ा अपराध अन्याय सहना और गलत के साथ समझौता करना है।”
- “आज हमारे अन्दर बस एक ही इच्छा होनी चाहिए, मरने की इच्छा ताकि भारत जी सके, एक शहीद की मौत मरने की इच्छा ताकि स्वतंत्रता का मार्ग शहीदों के खून से प्रशश्त हो सके।”
- “भारत में राष्ट्रवाद ने एक ऐसी सृजनात्मक शक्ति का संचार किया है जो सदियों से लोगों के अन्दर सुसुप्त पड़ी थी।”
- “चरित्र निर्माण ही छात्रों का मुख्य कर्तव्य है।”
- “अपनी ताकत पर भरोसा करो, उधार की ताकत हमेशा घातक होती है।”
- “जीवन के हर पल में आशा की कोई ना कोई किरण जरुर आती है जो हमें आगे बढ़ने के लिए प्रेरित करती है।”
- “केवल पूर्ण राष्ट्रवाद, पूर्ण न्याय और निष्पक्षता के आधार पर ही भारतीय सेना का निर्माण किया जा सकता है।”
- “गलत के आगे झुकना नहीं और सही से कभी मुड़ना नहीं।”