भदोही: मंत्रिमंडल विस्तार में पूर्वांचल से शामिल होगा कोई ब्राह्मण चेहरा

प्रभुनाथ शुक्ल
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  • पं. रंगनाथ मिश्र के बाद भदोही से कोई ब्राह्मण नहीं बन पाया मंत्री 

  • सपा-बसपा ने दलित और पिछड़ों को खूब बांटी लालबत्ती 

  • लालबत्ती को लेकर भदोही की होती है उपेक्षा, अगड़ी जाति को बेहद कम मिलती है तरजीह 

भदोही, 23 जुलाई। शब्दरंग न्यूज डेस्क


Cabinet Expansion : योगी सरकार के मंत्रिमंडल विस्तार (Cabinet Expansion) को लेकर लोगों में कयास लगाए जा रहे हैं। केंद्र में मंत्रिमंडल विस्तार के बाद आगामी विधानसभा चुनाव को देखते हुए राज्य में तीसरी बार सरकार मंत्रिमंडल विस्तार (Cabinet Expansion) में जुटी है। हालांकि अभी कोई तारीख निर्धारित नहीं हुई है। मंत्रिमंडल में पूर्वांचल से क्या कोई नया चेहरा शामिल हो सकता है। ब्राह्मणों को साधने के लिए क्या भदोही से कोई ब्राह्मण मंत्री मंत्री बनाया जा सकता है।

उत्तर प्रदेश में विधानसभा चुनाव को देखते हुए केंद्र सरकार के मंत्रिमंडल विस्तार (Cabinet Expansion) में उत्तर प्रदेश से सात लोगों को शामिल किया गया। जिसमें सिर्फ एक ब्राह्मण और छह दलित और पिछडी जाति से हैं। भदोही से अभी तक योगी सरकार में किसी को भी मंत्रिमंडल में शामिल नहीं शामिल किया गया है। जबकि सपा और बसपा की सरकारों को हमेशा प्रतिनिधित्व मिला है। सिर्फ अखिलेश सरकार में किसी चेहरे को लालबत्ती नहीं मिली थी। भदोही की आमतौर पर सियासत में उपेक्षा की जाती है। जिला सियासत में हमेशा हाशिए पर रहता है। यही वजह है कि भदोही का जितना विकास होना चाहिए वह नहीं हो पाया है। केंद्र और राज्य को कालीन निर्यात के जरिए हजारों करोड़ का राजस्व देने के बाद भी इसे राजनितिक तरजीह नहीं मिलती। सरकार का कार्यकाल खत्म होने जा रहा है लेकिन योगी मंत्रिमंडल में भदोही के किसी चेहरे को लालबत्ती नहीं मिली। Cabinet Expansion

Cabinet Expansion

भाजपा की जब तत्कालीन सरकार थी तो उसमें पंडित रंगनाथ मिश्र को गृहराज्यमंत्री के अलावा ऊर्जा, वन और स्वास्थ मंत्री की जिम्मेदारी मिली थी। मायावती सरकार में शिक्षा मंत्री बनाया गया था। शिक्षामंत्री होते हुए उन्होंने जनपद में बेहतरीन कार्य किया। भारी तादात में जूनियर हाई स्कूल की स्थापना कराई। जब बिजली मंत्री रहे तो भी अच्छा कार्य किया। रंगनाथ मिश्र भाजपा और बसपा दोनों सरकारों में मंत्री रहे। रंगनाथ मिश्र के बाद भदोही से किसी भी ब्राह्मण चेहरे को मंत्री नहीं मनाया गया। पूर्व सांसद पंडित गोरखनाथ भी भाजपा सरकार में प्रश्न एवं संदर्भ समिति के अध्यक्ष रहे। Cabinet Expansion

पूर्व की सपा और बसपा सरकारों ने जातीय समीकरण साधने के लिए निषाद और बिंद जाति से कई मंत्री बनाए। जिसमें रामरति बिंद, रामकिशोर बिंद कारागार मंत्री थे। इसके अलावा कांग्रेस में शारदा प्रसाद बिंद भी मंत्री रहे। औराई सुरक्षित सीट से भाजपा विधायक दीनानाथ भास्कर भी समाजवादी पार्टी और बसपा में मंत्री रहे हैं।

हालांकि इन दिनों किसी भी ब्राह्मणों को किसी सरकार में मंत्री नहीं बनाया गया। सपा में उम्मीद की जा रही थी कि विजय मिश्रा को मंत्री बनाया जा सकता था लेकिन राजनीतिक कारणों से यह सम्भव नहीं हुआ। बसपा सरकार में मदनलाल बिंद को भी निगम का अध्यक्ष बनाकर लाल बत्ती सौंपी गई। लेकिन राज्य की योगी सरकार में भदोही से किसी चेहरे को मंत्रिमंडल में नहीं शामिल किया गया।

भदोही की राजनीति में ब्राह्मणों की बात करें तो उनकी भूमिका हमेशा अहम रहीं है। स्वाधीन भारत की पहली सरकार में पंडित श्यामधर मिश्र को नेहरू मंत्रिमंडल में सिंचाई मंत्री की जिम्मेदारी दी गई थी। पंडित जी का कार्यकाल आज भी लोगों के जेहन में बरकरार है जिले में सर्वाधिक राजकीय नलकूपों की स्थापना कराई। योगी मंत्रिमंडल विस्तार में उम्मीद जताई जा रही है कि समीकरणों को साधने के लिए पूर्वांचल से कोई न कोई ब्राह्मण चेहरा मंत्री बनाया जा सकता है। वाराणसी से पर्याप्त संख्या में लोगों को प्रतिनिधित्व मिला है। भदोही से लोगों को उम्मीद है कि रविंद्रनाथ त्रिपाठी को योगी सरकार में लालबत्ती मिल सकती है। हालांकि योगी सरकार में जब-जब मंत्रिमंडल विस्तार (Cabinet Expansion) की बात आयी हर बार भदोही को लेकर दबी जुबान चर्चा देखी गईं, लेकिन बात नहीं बन पायी।

भदोही विधायक रविंद्रनाथ त्रिपाठी सियासी रूप से बेहद मजबूत होकर उभरे हैं। हाल में त्रिस्तरीय पंचायत चुनाव में उन्होंने विपरीत परिस्थितियों में खुद को स्थापित किया है। पार्टी में कुछ लोगों के आतंरिक विरोध के बाद भी वह मुकाबले में डेट रहे और अपनी राजनीतिक कुशलता का परिचय दिया। भदोही जिलापंचायत सीट पर सपा का कब्ज़ा बरकरार था। लेकिन उन्होंने समाजवादी किले को ध्वस्त कर दिया। अपने भाई अनिरुद्ध त्रिपाठी को मैदान में उतारकर अध्यक्ष की कुर्सी पर कब्जा कर लिया। भाजपा के लिए बड़ी उपलब्धि है। Cabinet Expansion

दूसरी तरफ ब्लॉक प्रमुखों के चुनाव में पार्टी और कार्यकर्ताओं के सहयोग से भाजपा को जीत दिलाई। रविंद्रनाथ त्रिपाठी जन सहयोग से एक मजबूत राजनीतिक शख्सियत के रूप में उभरे। उनकी सियासी कामयाबी को देखते हुए जनता का भरोसा भी उन पर बढ़ा है। इस लिहाज से रविंद्रनाथ त्रिपाठी को मंत्रिमंडल विस्तार (Cabinet Expansion) में शामिल किया जाता है तो जिले के लिए बड़ी उपलब्धि होगी। दूसरी बात अगड़ी जाति से किसी चेहरे को मंत्री बनाकर भारतीय जनता पार्टी अपनी चुनावी गोंट फिट कर सकती है। संभावना जताई जा रही है कि मंत्रिमंडल विस्तार (Cabinet Expansion) में सरकार दलित, पिछड़ा और ब्राह्मणों को साध कर आने वाले चुनाव में अपनी स्थिति और मजबूत कर सकती है। Cabinet Expansion

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लेखक वरिष्ठ पत्रकार, कवि और स्वतंत्र टिप्पणीकार हैं। आपके लेख देश के विभिन्न समाचार पत्रों में प्रकाशित होते हैं। हिंदुस्तान, जनसंदेश टाइम्स और स्वतंत्र भारत अख़बार में बतौर ब्यूरो कार्यानुभव।
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